
भारत का स्टील्थ फाइटर बनाने का सपना जल्दी पूरा होगा
पड़ोसी देशों पाकिस्तान और चीन के साथ बढ़ते तनाव और परमाणु हथियारों से लैस चुनौतियों को देखते हुए भारत अब अपनी सैन्य ताकत को एक नए स्तर पर ले जाने की तैयारी में है. देश अब खुद का पांचवीं पीढ़ी का स्टील्थ फाइटर जेट तैयार करने जा रहा है, जो दुश्मन की नज़रों से बचकर खामोशी से वार करने में सक्षम होगा. DRDO और ADA मिलकर इस ‘अदृश्य योद्धा’ यानी AMCA (एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट) को विकसित कर रहे हैं. इसके निर्माण के लिए DRDO ने एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (EoI) जारी किया था, जिसमें HAL, L&T, टाटा और अडानी जैसी सात बड़ी कंपनियों ने रुचि दिखाई. अब इन कंपनियों में से दो को चुना जाएगा, जो इस महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट में देश के साथ कदम से कदम मिलाकर चलेंगी.
कौन-कौन सी कंपनियां हैं रेस में?
भारत के स्टील्थ फाइटर AMCA को तैयार करने की होड़ में देश की सात बड़ी कंपनियां शामिल हुई हैं. इनमें हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL), लार्सन एंड टुब्रो (L&T), टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स, और अडानी डिफेंस जैसे बड़े नाम सबसे आगे हैं. इन कंपनियों ने DRDO के साथ मिलकर यह फाइटर जेट बनाने के लिए बोली लगाई है.
अब इन सात में से दो कंपनियों को चुना जाएगा, जो इस प्रोजेक्ट में DRDO के साथ मिलकर काम करेंगी. इन्हें शुरुआत में 15,000 करोड़ रुपये का फंड दिया जाएगा, जिससे ये AMCA के पांच प्रोटोटाइप विमान तैयार करेंगी. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस लिस्ट में अडानी डिफेंस का नाम सबसे ऊपर है. इस पूरे प्रोजेक्ट की लागत करीब 2 लाख करोड़ रुपये आंकी गई है, और योजना है कि इसके तहत 125 से ज्यादा लड़ाकू विमान बनाए जाएं, जो भविष्य में भारतीय वायुसेना की ताकत को और मजबूत करेंगे.
कब उड़ान भरेगा भारत का ‘अदृश्य योद्धा’?
AMCA प्रोजेक्ट को लेकर अभी चुनिंदा कंपनियों के चयन की प्रक्रिया चल रही है. ब्रह्मोस एयरोस्पेस के पूर्व प्रमुख ए. शिवथानु पिल्लई की अगुवाई में एक उच्चस्तरीय समिति बोली लगाने वाली कंपनियों का मूल्यांकन कर रही है. यह समिति अपनी रिपोर्ट रक्षा मंत्रालय को सौंपेगी, जिसके बाद तय होगा कि किन दो कंपनियों को यह जिम्मेदारी दी जाएगी.
फिलहाल यह प्रोजेक्ट अभी विकास के शुरुआती चरण में है, लेकिन योजना के मुताबिक यह अदृश्य योद्धा 2035 तक भारतीय वायुसेना का हिस्सा बन सकता है. जब यह विमान सेवा में शामिल होगा, तब यह भारत की सैन्य ताकत को नई ऊंचाई देगा और देश को तकनीक के उस मुकाम पर ले जाएगा, जहां आज अमेरिका, रूस और चीन जैसे देश हैं.
किसी से कम नहीं होगा भारत का फाइटर
भारत का एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट यानी AMCA एक ऐसा लड़ाकू विमान होगा, जो स्टील्थ तकनीक से लैस रहेगा. इसका मतलब यह है कि यह दुश्मन के रडार से बचते हुए चुपचाप वार कर सकेगा. यह विमान दो इंजन वाला और एक सीट वाला होगा, जिसमें अत्याधुनिक स्टील्थ कोटिंग, बेहतरीन एवियोनिक्स सिस्टम और मल्टी-रोल हथियार क्षमता होगी.
AMCA लगभग 55,000 फीट की ऊंचाई तक उड़ान भर सकेगा और इसमें जमीन से हवा और हवा से हवा में मार करने वाले आधुनिक हथियार लगे होंगे. इसके अंदरूनी हथियार प्रणाली की क्षमता 1,500 किलोग्राम और बाहरी हथियारों की क्षमता 5,500 किलोग्राम होगी. इसका कुल वजन लगभग 25 टन होगा और इसमें 6.5 टन तक ईंधन भरने की क्षमता होगी.
इसके अलावा भारत ने हाल ही में फ्रांस से 26 राफेल-एम लड़ाकू विमान खरीदने की डील की है, जिसकी कीमत 63,000 करोड़ रुपये है. ये विमान पुराने मिग-29K की जगह लेंगे और 2031 तक भारत को मिल जाएंगे. इससे पहले भारत की वायुसेना में 36 राफेल-सी विमान पहले ही शामिल हो चुके हैं.