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Chemical in Medicine: फिजूल दवाई खाने की लत सिर्फ मानसिक और शारीरिक नुकसान तक सीमित नहीं है बल्कि अब इसमें इस्तेमाल हो रही मिलावटी दवाएं और भी घातक होती जा रही हैं. अमेरिका में हुए एक हालिया शोध में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. वैज्ञानिकों ने पाया है कि फेंटानिल नामक नशीली दवा में एक बेहद खतरनाक रसायन मिलाया जा रहा है जिससे इंसान के शरीर को गंभीर नुकसान हो सकता है. शोधकर्ताओं ने इस रसायन को बीटीएमपीएस BTMPS नाम दिया है. इसका उपयोग आमतौर पर प्लास्टिक, सीलेंट और चिपकाने वाले पदार्थों में किया जाता है. इस रसायन को इंसानों के सेवन के लिए सुरक्षित नहीं माना जाता है लेकिन फिर भी यह तेजी से नशीली दवाओं की सप्लाई में घुसपैठ कर चुका है.
शोध में क्या सामने आया?
दरअसल यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया-लॉस एंजेलिस के शोधकर्ताओं ने 2024 के जून से अक्टूबर के बीच नशीली दवाओं के कई सैंपल इकट्ठा कर जांच की. ये सभी दवाएं फेंटानिल के नाम पर बेची जा रही थीं. जब इनका परीक्षण किया गया तो इनमें बीटीएमपीएस की अत्यधिक मात्रा पाई गई. यह वही रसायन है जो अक्सर प्लास्टिक और औद्योगिक उत्पादों में स्थिरता बढ़ाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है. चिंता की बात यह है कि इस शोध को प्रतिष्ठित वैज्ञानिक पत्रिका JAMA में प्रकाशित किया गया है, जो इसके परिणामों की गंभीरता को दर्शाता है.
कितना खतरनाक है यह रसायन?
वैज्ञानिकों ने बताया कि बीटीएमपीएस इंसानों के लिए बेहद नुकसानदायक हो सकता है. चूहों पर किए गए शोध में यह पाया गया कि यह रसायन हृदय को प्रभावित करता है, आंखों की रोशनी पर असर डाल सकता है और अधिक मात्रा में सेवन करने से अचानक मृत्यु भी हो सकती है. इसके बावजूद, यह तेजी से नशीली दवाओं की सप्लाई में शामिल किया जा रहा है. प्रोफेसर चेल्सी शोवर के मुताबिक, यह चिंता की बात है कि इस रसायन को इतनी बड़ी मात्रा में इस्तेमाल किया जा रहा है, जबकि यह पारंपरिक रूप से नशीला पदार्थ नहीं माना जाता.
फेंटानिल से 7 गुना ज्यादा मिला बीटीएमपीएस
शोध में यह भी सामने आया कि बीटीएमपीएस की मात्रा फेंटानिल से औसतन 7 गुना ज्यादा पाई गई. कुछ मामलों में तो यह दवा 50% से ज्यादा इसी रसायन से बनी हुई थी. यानी जो लोग इसे फेंटानिल समझकर खरीद रहे थे, वे असल में इस खतरनाक रसायन का सेवन कर रहे थे, जिसका असर पूरी तरह से अनजान और बेहद खतरनाक हो सकता है. चौंकाने वाली बात यह भी है कि अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि इस रसायन को फेंटानिल में क्यों मिलाया जा रहा है.
चेतावनी क्यों जरूरी है?
बीटीएमपीएस कोई प्रतिबंधित रसायन नहीं है. इसलिए यह आसानी से उपलब्ध हो सकता है. यही वजह है कि इसे पारंपरिक नशीली दवाओं की पहचान करने वाले तरीकों से पकड़ना मुश्किल हो सकता है. इसका मतलब यह हुआ कि टॉक्सिकोलॉजी रिपोर्ट, अपराध जांच और सामान्य मेडिकल टेस्ट भी इसे आसानी से नहीं पहचान पाएंगे. वैज्ञानिक इस विषय पर और शोध कर रहे हैं, लेकिन शुरुआती नतीजे बेहद डरावने हैं. अमेरिका में यह समस्या तेजी से बढ़ रही है और अगर इस पर जल्द रोक नहीं लगी तो यह वैश्विक स्तर पर गंभीर खतरा बन सकता है.