कैंसर की दवाई के ट्रायल में हुआ चमत्कार! रोग हुआ गायब, इतिहास में पहली बार! “ ˌ

कैंसर की दवाई के ट्रायल में हुआ चमत्कार! रोग हुआ गायब, इतिहास में पहली बार! “ ˌ

चिकित्सा विज्ञान में इस तरह की घटना पहले कभी हुई है या नहीं, इस पर संदेह है। इसे एक लगभग दुर्लभ घटना माना जा सकता है। किसी भी घातक रोग के इलाज में इस तरह का मामला पहले कभी नहीं देखा गया था।

हाल ही में कैंसर की दवाई के क्षेत्र में एक शोध में ऐसी ही सफलता प्राप्त हुई है। यह शोध कोलोरैक्टल कैंसर पर किया जा रहा था।

वैज्ञानिकों ने परीक्षण के हिस्से के रूप में मानव परीक्षण शुरू किया था। शोधकर्ताओं ने जिन दवाओं का प्रयोग किया, वे 100 प्रतिशत सफल रही हैं। वैज्ञानिकों ने यह भी बताया कि दवा के उपयोग के बाद कई मरीजों ने कैंसर से मुक्ति प्राप्त की है।

आप जानते हैं कौन सी दवा (Cancer Medicine) इस्तेमाल की गई, जिससे यह चमत्कारी परिणाम मिला? वह दवा जिसका प्रयोग करके यह अद्भुत सफलता प्राप्त हुई, उसका नाम है दोस्तारलिमाब। यह दवा एक प्रयोगशाला में विकसित की गई थी। इसे शरीर में एक एंटीबॉडी की तरह कार्य करने के लिए तैयार किया गया है, यानी यह एंटीबॉडी के विकल्प के रूप में कार्य करती है। हम सभी जानते हैं कि एंटीबॉडी मानव शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता का एक महत्वपूर्ण हिस्सा होती है। एंटीबॉडी ही शरीर की इम्यूनिटी को मजबूत करके रोगों से लड़ने में मदद करती है। इसी एंटीबॉडी की मदद से लोग कैंसर जैसे रोगों से लड़ सकते हैं।

शोधकर्ता इस पर क्या कह रहे हैं? न्यूयॉर्क के मिमोरियल स्लोवन केटेरिंग कैंसर सेंटर के शोधकर्ता डॉक्टर लुईस का कहना है कि यह कैंसर की दवाई बनाने के इतिहास में पहली बार है। इस दवा (Cancer Medicine) का क्लिनिकल परीक्षण 18 मरीजों पर किया गया था। शोधकर्ताओं की टीम ने ट्रायल के माध्यम से सफलता प्राप्त की। प्रत्येक मरीज के शरीर में दोस्तारलिमाब एंटीबॉडी डाली गई थी। चमत्कारी रूप से उस एंटीबॉडी ने जादू कर दिया और शरीर से कैंसर गायब हो गया।

कैसे पता चलेगा कि शरीर में अब इस रोग का कोई भी निशान नहीं है? शोधकर्ताओं का कहना है कि इस दवा (Cancer Medicine) की डोज देने के बाद मरीजों का अलग-अलग प्रकार से परीक्षण किया गया। इन परीक्षणों में एंडोस्कोपी, PET स्कैन, और MRI स्कैन शामिल थे। लेकिन इन सभी टेस्टों में कहीं भी कैंसर का कोई निशान नहीं पाया गया। इसके बाद शोधकर्ताओं को यकीन हो गया कि यह एंटीबॉडी कैंसर को हटाने में मदद कर रही है।

अगर सचमुच इस तरह की एंटीबॉडी शरीर में कैंसर को मुक्त करने में मदद करती है, तो इसका फायदा रोगियों को होगा। अगर यह असंभव कुछ संभव बन जाता है, तो चिकित्सा विज्ञान में जबरदस्त हलचल मचेगी। अब बस समय का इंतजार है और देखना है कि यह दवा वास्तव में कितना सफल हो सकती है।

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