
Vaikuntha Ekadashi 2025 Image Credit source: Pixabay
Vaikuntha Ekadashi 2025 Daan: हिंदू धर्म में वैकुंठ एकादशी बहुत ही विशेष मानी जाती है. ये दिन जगत के पालनहार भगवान श्री हरि विष्णु को समर्पति किया गया है. वैकुंठ एकादशी पर भगवान विष्णु के व्रत और पूजन का विधान है. हिंदू मान्यताओं के अनुसार, इस दिन व्रत और पूजन करने वालों को मरने के बाद मोक्ष मिलता है. इस दिन भगवान विष्णु का पूजन और व्रत करने वालों के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं. साथ भगवान विष्णु की कृपा मिलती है.
हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल वैकुंठ एकादशी की तिथि की शुरुआत 9 जनवरी को दोपहर 12 बजकर 22 मिनट पर होगी. इस तिथि का समापन अगले दिन 10 जनवरी को सुबह 10 बजकर 19 मिनट पर हो जाएगा. ऐसे में उदया तिथि के अनुसार, वैकुंठ एकादशी का व्रत 10 जनवरी को रखा जाएगा. इस दिन भगवान विष्णु के पूजन और व्रत के साथ-साथ दान करना भी बहुत पुण्यकारी माना गया है. तो चलिए जानते हैं कि वैकुंठ एकादशी पर किन चीजों का दान करना चाहिए.
इन चीजों का करें दान
- वैकुंठ एकादशी पर जरुरतमंदों को खाने, कपड़े और धन दान करने की मान्यता है. ऐसा करने से पुण्य फल मिलता है.
- इस दिन तुलसी का पौधा कंबल और अनाज दान करना चाहिए. इससे अध्यातमिक पुण्य और भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होती है.
- इस दिन गाय को दान करने की परंपरा भी है. मान्यता है कि ऐसा करके अध्यात्मिकता का सम्मान किया जाता है.
ये चीजें न करें
- वैकुंठ एकादशी पर मन में नेगिटिव विचार नहीं लाने चाहिए.
- इस दिन झूठ नहीं बोलना चाहिए.
- इस दिन क्रोध नहीं करना चाहिए.
- इस दिन मांंसाहार नहीं खाना चाहिए.
- इस दिन प्याज लहसुन के सेवन से बचना चाहिए.
वैकुंठ एकादशी का महत्व
वैकुंठ एकादशी का दिन धार्मिक रूप से बहुत ज्यादा महत्वपूर्ण माना गया है. इस दिन भगवान विष्णु के पूजन और व्रत से मन के मैल धुल जाते हैं. मन शुद्ध और पवित्र हो जाता है. इस दिन भगवान विष्णु के पूजन और व्रत से घर में के सभी कष्ट दूर होते हैं. साथ ही घर में सुख-समृद्धि का वास हमेशा बना रहता है. इस दिन पूजन और व्रत करने वाले अपने स्वर्ग जाने का रास्ता आसान कर लेते हैं. जिससे मरने के बाद उन्हें मोक्ष की प्राप्ति और वैकुंठ धाम में स्थान मिलता है.
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Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है. टीवी9 भारतवर्ष इसकी पुष्टि नहीं करता है.