मार्केट में निवेश के वैसे तो बहुत सारे तरीके मौजूद हैं. उनमें से FD और म्यूचुअल फंड में निवेश करना भी एक तरीका है. हालांकि, इसमें रिस्क है और आपको खुद मंथली पैसे जमा करते हैं. लेकिन, अगर आप किसी ऐसी कंपनी में काम करते हैं, जहां आपका ईपीएफओ अकाउंट खुला है तो खुद से निवेश करने की जरूरत नहीं है. 22,000 हजार की मंथली बेसिक सैलरी है, तब भी आप रिटायरमेंट के बाद 1 करोड़ रुपये का फंड बना सकते हैं.
केंद्र सरकार की ओर से खासतौर पर निजी सेक्टर में काम करने वाले कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद आर्थिक सहायता प्रोवाइड कराने के लिए ईपीएफओ के तहत पीएफ फंड स्कीम की शुरुआत की थी. इस स्कीम में सरकारी कर्मचारियों को भी शामिल किया गया है. लेकिन यह निजी सेक्टर में काम करने वालों से लिए ज्यादा किफायती है. क्योंकि उन्हें रिटायरमेंट के बाद अमूमन और कोई आर्थिक मदद नहीं मिलती है. अगर आपने ईपीएफओ के तहत पीएफ अकाउंट ओपन कराया है. आपकी मंथली बेसिक सैलरी 22 हजार रुपये है, तब आप आराम से 1 करोड़ रुपये से ज्यादा का फंड बना सकते हैं. आइए इसका कैलकुलेशन और ब्याज का तरीका समझते हैं.
इतना मिलता है ब्याज
पीएफ में निवेश से आपका फंड कैसे 1 करोड़ रुपये के पार होगा. इसको समझने से पहले यह जरूरी है कि यह जान लें कि इस पर सरकार की ओर से ब्याज कितना मिलता है. ईपीएफओ ने पीएफ पर मिलने वाले ब्याज को 8.15 प्रतिशत से बढ़ाकर 8.25 प्रतिशत कर दिया है. यह ब्याज दर आपकी जमाराशि सालाना मिलता है और कपांउडिंग के जरिए बढ़ता रहता है.
फंड का कैलकुलेशन
ब्याज के बाद आइए आपको बताते हैं कि कैसे 22 हजार की मंथली बेसिक सैलरी और डीए के साथ आप 1 करोड़ रुपये का फंड इकट्ठा कर सकते हैं. मान लीजिए कि आपकी बेसिक सैलरी 22 हजार रुपये हर महीने की है. आप 30 साल की उम्र में नौकरी शुरू करते हैं. तभी से पीएफ में भी इन्वेस्ट कर रहे हैं. मंथली बेसिक सैलरी का 12 प्रतिशत आप अकाउंट में डाल रहे हैं और उतना ही कंपनी डाल रही है. सैलरी 5 प्रतिशत के हिसाब से सालाना बढ़ रही है, तो 8.25 प्रतिशत ब्याज के हिसाब से आपका टोटल फंड रिटायरमेंट के बाद 1,04,75,434 रुपये का फंड जुटा सकते हैं.